शाजापुर को मिला गोल्डन बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड, हिमोग्लोबिन जांच में रहा अव्वल

शाजापुर/आदित्य शर्मा:  जिले के नाम गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दो उपलब्धियां शामिल हुई। कलेक्टर किशोर कन्याल के नेतृत्व में  12 अप्रैल को जिले में 19102 लोगों की हिमोग्लोबिन जांच करने पर रिकॉर्ड का प्रमाण-पत्र दिया गया है। वही नि:शुल्क थैलेसीमिया जांच शिविर में एक दिन में एक शहर में सर्वाधिक ह्यूमन ल्यूकोसाइट एंटीजन यानी एचएलए टेस्ट नि:शुल्क कर जर्मनी भेजे गए। इस रिकॉर्ड के जांच, सत्यापन की घोषणा भी गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड के प्रतिनिधि ने शिविर के आयोजन में करी।

नि:शुल्क थैलेसीमिया व रक्त रोग, एचएलए की जांच की गई। शिविर में इन बीमारियों के मध्य प्रदेश व अन्य राज्यों से लगभग 137 मरीज पहुंचे थे। इन बिमारियों के इलाज का खर्च 25 से 43 लाख रुपए तक होता है। सर्जरी से पहले बोनमैरो डोनर, रिसीवर का एचएलए मिलान जरूरी होता है। जांच एक व्यक्ति की 12 से 15 हजार में होती है, जो इस कैंप में नि:शुल्क की गई थी।शिविर में बेंगलोर और मुंबई से आए डॉक्टर्स की टीमें शामिल थी।थैलेसीमिया जैसी गंभीर बीमारी के लिए सामान्य परिवार का व्यक्ति जो पैसा खर्च नहीं कर सकते हैं। यह शिविर इस उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए आयोजित किया गया था।

कलेकटर श्री कन्याल ने बताया कि 1 दिन में एक ही शहर में 120 मरीजों की ओपीडी कर एचएलए के 79 परिवार के सर्वाधिक करीब एचएलए 200 टेस्ट किए गए। गोल्डन बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड के प्रतिनिधि डॉ. मनीष विश्नोई ने नए रिकॉर्ड के सत्यापन कराने का ऐलान किया। इसी शिविर में 18 वर्ष तक के बच्चों की नि:शुल्क हृदय रोग के मरीजों की 67 जांच कर ऑपरेशन के लिए पंजीयन किया गया। सीएमएचओ डॉ.राजू निदारीया ने बताया कि गंभीर बीमारी से पीड़ित शिविर में आए छोटे-छोटे बच्चों के मनोरंजन के लिए इवेंट कलाकारों ने भी आकर्षक प्रदर्शन किया। विशेष सहयोगियों व प्रेरकों का सम्मान भी किया गया।

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